पंजाब में पंचायत चुनाव को लेकर शुक्रवार से नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई। प्रत्याशियों को नामांकन दाखिल करने से पहले एरिया बीडीपीओ या संबंधित अथॉरिटी से नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट (एनओसी) या नो ड्यू सर्टिफिकेट (एनडीसी) लेना जरूरी होता है। इस बार चुनाव आयोग ने पंचायत चुनाव की नामांकन प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए एक बड़ा फैसला लिया है। राज्य चुनाव आयुक्त राज कमल चौधरी ने बताया कि अगर किसी कारण से प्रत्याशी एनओसी नहीं ले पाता है तो वह सेल्फ एफिडेविट देकर भी नामांकन पत्र भर पाएगा। इससे उसका नामांकन रद्द नहीं किया जाएगा। ऐसा इसलिए किया है, क्योंकि अकसर पंचायत चुनाव में नामांकन के साथ एनओसी सर्टिफिकेट संलग्न न होने की वजह से नामांकन रद्द कर दिए जाते थे।
नतीजों के बाद एफिडेविट गलत पाए जाने पर चुनाव होंगे रद्द
चौधरी ने बताया कि नामांकन दाखिल करते समय प्रत्याशी जो एफिडेविट देंगे, वह रिटर्निंग ऑफिसर की ओर से संबंधित पंचायत और अथॉरिटी को वेरिफिकेशन के लिए भेजा जाएगा। अगर 24 घंटे के अंदर वेरिफिकेशन रिपोर्ट आ जाती है तो ठीक, नहीं तो एफिडेविट के आधार पर ही नामांकन पत्र स्वीकार कर लिया जाएगा। अगर प्रत्याशी जीत जाता है और बाद में उसका एफिडेविट गलत पाया जाता है तो उस पंचायत का परिणाम रद्द कर दोबारा चुनाव कराए जाएंगे।
23 आईएएस व पीसीएस अफसर लगेंगे ऑब्जर्वर
चौधरी ने बताया कि चुनाव शांतिपूर्ण तरीके से कराने के लिए 23 आईएएस और पीसीएस अफसरों को ऑब्जर्वर नियुक्त किया जाएगा। सरपंच और हर वार्ड में खड़े हुए पंचों के मतदान के लिए ग्राउंड लेवल पर 96 हजार सरकारी कर्मियों की ड्यूटी लगाई जाएगी।