भारत और कनाडा के बीच खालिस्तानियों के मुद्दे पर एक बार फिर गतिरोध बढ़ गया है, जिसमें भारत ने कनाडाई अधिकारियों से कहा है कि वे 10 अक्टूबर तक लगभग 40 राजनयिकों को वापस बुला लें, अन्यथा उनकी राजनयिक छूट वापस ले ली जाएगी।
कनाडा में भारत के 62 राजनयिक काम कर रहे हैं, जिनमें से लगभग 40 राजनयिकों को वापस बुलाने के आदेश दिए गए हैं। इसके पीछे मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कहा है कि पंजाब सरकार ने 50,000 करोड़ रुपए के कर्ज की जगह 47,000 करोड़ रुपए के कर्ज लिए हैं, और इसमें से 27,000 करोड़ रुपए पिछली सरकारों के दौरान लिए गए कर्ज के ब्याज के रूप में चुकाया गया है।
कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूदो ने भी इस मुद्दे पर जवाब दिया है और उन्होंने भारत के साथ सहमति के बावजूद कोई भी सबूत पेश नहीं किया है। इस पर भारत ने भी खुलकर प्रतिक्रिया दी है और दोनों देशों के बीच दिप्लोमेसी के मामले में तनाव बढ़ गया है।
ये भी पढ़ें पाकिस्तान का आतंकी मुंसूबा: भारत पर साजिश के पीछे ISI का हाथ?