वन एवं वन्य जीव सुरक्षा विभाग द्वारा ‘द पंजाब प्रोटेक्शन ऑफ़ ट्रीज़ एक्ट, 2025’ का मसौदा किया जा रहा है तैयार

वन एवं वन्य जीव सुरक्षा विभाग द्वारा 'द पंजाब प्रोटेक्शन ऑफ़ ट्रीज़ एक्ट 2025' का मसौदा किया जा रहा है तैयार
वन एवं वन्य जीव सुरक्षा विभाग द्वारा 'द पंजाब प्रोटेक्शन ऑफ़ ट्रीज़ एक्ट 2025' का मसौदा किया जा रहा है तैयार
  • हरियाली को बनाए रखने, पर्यावरणीय संतुलन सुनिश्चित करने और प्रदूषण को रोकने के लिए बनाया जा रहा है यह एक्ट
  • मानव जीवन के लिए ख़तरा पैदा करने वाले सूखे, मृत एवं खतरनाक पेड़ों का चरणबद्ध ढंग से किया जा रहा है निपटारा
  • 80.5 लाख पौधे लगाने के लक्ष्य के मुकाबले 90 लाख पौधे लगाए

चंडीगढ़, 21 अगस्त:

वन एवं वन्य जीव सुरक्षा विभाग, पंजाब द्वारा ‘द पंजाब प्रोटेक्शन ऑफ़ ट्रीज़ एक्ट, 2025’ का मसौदा तैयार किया जा रहा है, जिसका उद्देश्य हरियाली को बनाए रखना, पर्यावरणीय संतुलन सुनिश्चित करना और प्रदूषण को रोकने के साथ-साथ मिट्टी का संरक्षण करना है।

इस एक्ट का विस्तार पंजाब के सभी शहरी क्षेत्रों तक किया जाएगा। एक्ट के अनुसार, नगर परिषद, नगर निगम, नोटिफ़ाइड एरिया कमेटी, टाउन एरिया कमेटी या किसी भी शहरी विकास प्राधिकरण/सरकारी संस्था की सीमाएँ निर्धारित की गई हैं। इसमें एक ट्री ऑफिसर की व्यवस्था भी है, जो पंजाब में शहरी स्थानीय इकाइयों का एक कार्यकारी अधिकारी या राज्य सरकार द्वारा अधिसूचित कोई अन्य अधिकारी होगा।

एक्ट की धारा 4 के अनुसार, कोई भी व्यक्ति शहरी क्षेत्रों में खड़ा कोई भी पेड़ नहीं काट सकेगा और किसी भी शहरी क्षेत्र में, मानव हस्तक्षेप के बिना पूरी तरह मर चुके या गिर चुके पेड़ के अलावा किसी भी अन्य पेड़ को न तो काट सकेगा, न हटाएगा और न ही उसका निपटारा करेगा। एक्ट की धारा 5 में कुछ प्रावधान और विशेष शर्तें शामिल हैं जिनके अंतर्गत पेड़ को काटा जा सकता है जबकि धारा 9, धारा 4 के उल्लंघन की स्थिति में पेड़ काटने या हटाने के लिए दंड से संबंधित है।

आज यहाँ वन भवन में वन एवं वन्य जीव सुरक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक की अध्यक्षता करते हुए प्रभारी मंत्री लाल चंद कटारूचक को विभाग के अधिकारियों ने बताया कि मानव जीवन के ख़तरे को ध्यान में रखते हुए सूखे, मृत एवं खतरनाक पेड़ों को काटा जा रहा है। पहले चरण में 25,000 सूखे पेड़ काटे जाएँगे।

मंत्री ने श्री गुरु तेग बहादर साहिब जी के 350वें शहीदी दिवस के मद्देनज़र पौधे लगाने के लक्ष्य को पार करने के संबंध में विभाग द्वारा किए जा रहे प्रयासों की सराहना की। राज्य के सभी 23 जिलों में अब तक 90 लाख पौधे लगाए जा चुके हैं जबकि पौधे लगाने का वास्तविक लक्ष्य 80.5 लाख था। प्रत्येक ज़िले में 3.50 लाख पौधे लगाने की योजना बनाई गई थी।

मंत्री ने रोपड़ (श्री आनंदपुर साहिब पर विशेष ज़ोर देते हुए), शहीद भगत सिंह नगर (खटकर कलाँ स्थित शहीद भगत सिंह के पैतृक गाँव के आसपास के क्षेत्र पर ध्यान केंद्रित करते हुए), संगरूर, पठानकोट और अमृतसर जिलों में हाइवे के दोनों ओर पौधे लगाने की स्थिति की भी समीक्षा की। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से डी.एफ.ओज़ से बातचीत करते हुए और संगरूर में इस संबंध में ठोस कदम उठाने की प्रशंसा करते हुए, श्री कटारूचक ने सभी को पूरे जोश और समर्पण के साथ प्रोजेक्ट को लागू करने के लिए कहा।

इस अवसर पर मंत्री ने स्वर्गीय कवि शिव कुमार बटालवी की याद में कराए जा रहे कविता प्रतियोगिताओं के संबंध में श्रेणियों के पुनः वर्गीकरण को भी मंज़ूरी दी। संशोधन अनुसार अब प्राइमरी श्रेणी में पहली से पाँचवीं कक्षा, सेकेंडरी श्रेणी में छठी से आठवीं कक्षा शामिल होगी जबकि नौवीं से बारहवीं कक्षा को सीनियर सेकेंडरी श्रेणी में शामिल किया गया है।

इस अवसर पर अन्य के अलावा पंजाब राज्य वन विकास निगम के चेयरमैन राकेश पुरी, वन विभाग के प्रमुख प्रधान मुख्य वनपाल (वन बल के मुखिया) धर्मेन्द्र शर्मा, पंजाब राज्य वन विकास निगम के एम.डी. परवीन कुमार, ए.पी.सी.सी.एफ. सह सी.ई.ओ. पनकैम्पा सौरव गुप्ता, ए.पी.सी.सी.एफ.(प्रबंधन) बसंता राज कुमार, सी.सी.एफ.(हिल्स) निधि श्रीवास्तव, और सी. सी.एफ.वन्य जीव सागर सेतिया शामिल थे।