मुंबई की एक विशेष पीएमएलए अदालत ने सोमवार को जेट एयरवेज (Jet Airways) के संस्थापक नरेश गोयल (Naresh Goyal) के खिलाफ 538 करोड़ रुपये के केनरा बैंक धोखाधड़ी मामले में प्रवर्तन निदेशालय की हिरासत 14 सितंबर तक बढ़ा दी। उनकी प्रारंभिक हिरासत समाप्त होने के बाद उन्हें अदालत में पेश किया गया।
नरेश गोयल को ईडी ने फर्जी खर्च दिखाकर केनरा बैंक से धोखाधड़ी कर बैंक लोन की धनराशि निकालने के आरोप में 1 सितंबर को गिरफ्तार किया था। ईडी ने कहा कि जैसा कि अर्न्स्ट एंड यंग की फॉरेंसिक ऑडिट रिपोर्ट में संकेत दिया गया है, उन्होंने अवैध रूप से ऋण की रकम को डायवर्ट किया, जिससे बैंक को 538.62 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।
जांच एजेंसी के अनुसार, उन्होंने धन का उपयोग करके दुबई और यूके सहित विदेशों में विभिन्न संपत्तियां भी हासिल कीं।
नरेश गोयल के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला इस साल मई में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा जेट एयरवेज, गोयल, उनकी पत्नी अनीता और बंद हो चुकी एयरलाइन के कुछ पूर्व अधिकारियों के खिलाफ दर्ज की गई एफआईआर पर आधारित है।
एफआईआर केनरा बैंक की शिकायत पर दर्ज की गई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि उसने जेट एयरवेज को 848.86 करोड़ रुपये की क्रेडिट सीमा और ऋण मंजूर किए थे, जिसमें से 538.62 करोड़ रुपये बकाया थे। पिछले साल नवंबर में दायर शिकायत में नरेश गोयल पर धोखाधड़ी, आपराधिक साजिश, आपराधिक विश्वासघात और आपराधिक कदाचार का आरोप लगाया गया था।
जेट एयरवेज ने परिचालन जारी रखने के लिए धन जुटाने में विफल रहने और भारी नुकसान झेलने के बाद अप्रैल 2019 में परिचालन बंद कर दिया (Jet Airways)।