धार्मिक यात्रा को राजनीतिक तनाव की भेंट न चढ़ाया जाए – डॉ. कंवलजीत कौर
चंडीगढ़, 17 जुलाई 2025 – विश्व स्तरीय सिख संस्थाओं की प्रतिनिधि संस्था ग्लोबल सिख काउंसिल (जी.एस.सी.) ने भारत और पाकिस्तान के बीच पिछले लगभग एक महीने से जारी संघर्षविराम और सामान्य हालात को ध्यान में रखते हुए भारत सरकार से अपील की है कि करतारपुर साहिब कॉरिडोर को तुरंत खोला जाए, जिसे भारत सरकार ने 7 मई को पहलगाम हमले और सीमा पर उत्पन्न तनाव के चलते बंद कर दिया था।
आज यहां जारी एक बयान में जी.एस.सी. की अध्यक्ष डॉ. कंवलजीत कौर और महासचिव हरजीत सिंह ग्रेवाल ने भारत द्वारा एकतरफा और अनिश्चित काल के लिए यात्रा रोकने पर गहरी चिंता व्यक्त की है, जबकि पाकिस्तान की ओर से कॉरिडोर अब भी खुला है। भारत सरकार द्वारा कॉरिडोर बंद रखने के चलते देश-विदेश से हजारों श्रद्धालु श्री गुरु नानक देव जी के अंतिम समय के तपस्थल – गुरुद्वारा दरबार साहिब करतारपुर के दर्शन से वंचित हो रहे हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भेजी गई चिट्ठी में जी.एस.सी. ने जोर देकर कहा है कि करतारपुर साहिब कॉरिडोर धर्म, शांति और अंतरराष्ट्रीय भाईचारे का ऐतिहासिक प्रतीक है। उन्होंने कहा कि धार्मिक यात्रा को कभी भी राजनीतिक तनावों की भेंट नहीं चढ़ाया जाना चाहिए, खासकर तब जब दोनों देशों के बीच हालात सामान्य हो चुके हैं।
उन्होंने कहा कि करतारपुर साहिब कॉरिडोर कोई साधारण रास्ता नहीं बल्कि दुनिया भर में बसे सिख समुदाय के लिए एक आत्मिक जीवन रेखा है। ऐसे में जब हालात शांत हो चुके हैं और पाकिस्तान की खेल टीमों को भी भारत आने की अनुमति मिल चुकी है, तो फिर इस पवित्र स्थल के दर्शनों के मार्ग को बंद रखने का कोई औचित्य नहीं बनता।
ग्लोबल सिख काउंसिल ने गृह मंत्रालय और विदेश मंत्रालय से अपील की है कि वे तुरंत कार्रवाई करें और इस सीमा पार धार्मिक यात्रा सुविधा को दोबारा शुरू करें। उन्होंने कहा कि श्री करतारपुर साहिब कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं है, यह धार्मिक अधिकारों और आत्मिक स्वतंत्रता से जुड़ा विषय है। इसे प्रशासनिक या राजनीतिक कारणों से बंद रखना नाइंसाफी है और इससे विश्वभर की सिख संगतों की भावनाओं को गहरी ठेस पहुंची है।
ग्लोबल सिख काउंसिल का कहना है कि इस कॉरिडोर को पुनः खोलने से न केवल धार्मिक स्वतंत्रता सुनिश्चित होगी बल्कि आपसी विश्वास भी मजबूत होगा और अंतरराष्ट्रीय शांति-सद्भावना को भी बल मिलेगा। काउंसिल ने सभी सिख संस्थाओं, पंजाब सरकार, सांसदों और सामाजिक संगठनों से भी अपील की है कि वे एकजुट होकर करतारपुर साहिब कॉरिडोर को दोबारा खोलने के लिए आवाज उठाएं, ताकि संगतें फिर से इस पवित्र स्थल के सुखद दर्शन कर सकें।