शामली 22 फरवरी (वार्ता): उत्तर प्रदेश में शामली की एक अदालत ने किशोरी से दुष्कर्म के मामले में दोष सिद्ध पाए जाने पर मुख्य आरोपी को आजीवन कारावास और 20 हजार रुपये के अर्थदंड की सजा सुनाई है जबकि इस मामले में पीड़िता का अपहरण करके ले जाने वाली दो महिलाओं को भी पांच पांच वर्ष के कारावास और पांच पांच हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनायी गयी है।
जिला शासकीय अधिवक्ता संजय चौहान व विशेष लोक अभियोजक पुष्पेंद्र मलिक ने बताया 10 अगस्त 2022 को शामली कोतवाली में एक व्यक्ति ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। बताया था कि चार दिन पहले उसकी 15 वर्षीय पुत्री का नसीमा और तबस्सुम ने अपहरण कर लिया, जिसे आरोपी महिलाएं बागपत जिले के बड़ौत में शौकीन निवासी गांव बलवा शामली के पास ले गई। वहां आरोपी ने उसकी पुत्री के साथ दुष्कर्म किया। पुलिस ने किशोरी को बरामद कर लिया, जिसका मेडिकल परीक्षण कराने के साथ ही कोर्ट में बयान दर्ज कराए गए थे।
मामले में पुलिस ने आरोपी शौकीन और महिलाओं को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया था। जहां से उन्हें न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया था। मामले में पुलिस ने विवेचना करने के पश्चात आरोप पत्र न्यायालय में दाखिल कर दिया था। यह मामला कैराना स्थित अपर जिला सत्र न्यायाधीश (विशेष न्यायालय पॉक्सो) मुमताज अली के यहां विचाराधीन चल रहा था। सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से न्यायालय के समक्ष आठ गवाह पेश किए गए। बुधवार को न्यायालय ने दोनों पक्षों की दलील सुनने और पत्रावलियों का अवलोकन करने के पश्चात आरोपी शौकीन निवासी गांव बलवा को दुष्कर्म व पॉक्सो एक्ट के मामले में दोषी करार दिया, जिस पर दोषी को आजीवन कारावास व 20 हजार रुपये के अर्थदंड की सजा सुनाई।
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