नई दिल्ली, 5 अप्रैल (वार्ता) कांग्रेस पार्टी की केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक से पहले पार्टी के वरिष्ठ नेता और कर्नाटक प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला ने प्रदेश पार्टी इकाई में किसी तरह की दरार की खबरों का खंडन किया।
लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही कहानी बयां करती है। कुछ दिन पहले एक राष्ट्रीय समाचार चैनल को दिए एक साक्षात्कार में श्री सिद्धारमैया ने राज्य में 10 मई को विधानसभा चुनाव जीतने पर मुख्यमंत्री बनने की अपनी आकांक्षाओं को स्पष्ट कर दिया था।
कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष रहे डीके शिवकुमार भी पार्टी में अपने समर्थकों के जरिए मुख्यमंत्री बनने की मंशा जाहिर करते रहे हैं।
वास्तव में इस मामले में राहुल गांधी को हस्तक्षेप करना पड़ा और दोनों नेताओं के बीच एक समझौता करना पड़ा, लेकिन उन्होंने विधानसभा चुनाव से पहले प्रतिष्ठित सीट के लिए दावा करना शुरू कर दिया। यह स्पष्ट रूप से दर्शाता है कि दोनों नेता मुख्यमंत्री पद के लिए दावेदारी प्रस्तुत करने के लिए अधिक से अधिक संख्या में पार्टी विधायकों का समर्थन प्राप्त करने के लिए गुप्त रूप से काम कर रहे हैं।