हर तीसरे साल पर बदल जाती है टेक्नोलॉजी, कर्मियों की नियमित ट्रेनिंग है ज़रूरी : बीवीआर मोहन रेड्डी

रांची, 27 फरवरी (वार्ता) झारखंड में एक्सएलआरआई पीजीडीएम (जीएम) जमशेदपुर की ओर से सीएक्सओ सेशन का आयोजन किया गया। इसमें साइंट कंपनी के संस्थापक अध्यक्ष व बोर्ड के सदस्य बीवीआर मोहन रेड्डी मुख्य वक्ता रूप उपस्थित थे।एक्सएलआरआइ के अविनाश रागी ने जहां उद्घाटन भाषण दिया वहीं प्रो कनगराज अय्यालुसामी ने गुलदस्ता भेंट बीवीआर मोहन रेड्डी का स्वागत किया। मौक़े पर श्री रेड्डी ने आज अपनी यात्रा और अपनी कंपनी के बारे में एक प्रेजेंटेशन दिया, जिसमें उन्होंने कंपनी के विजन, मिशन और मूल्यों को साझा किया। उन्होंने अपनी यात्रा को साझा करते हुए बताया कि कैसे उन्होंने साइयंट की शुरुआत की और साइयंट के उत्तराधिकार की योजना के बारे में भी बात की। उन्होंने उद्यमी मानसिकता, इसके महत्व और हमें इसे कैसे विकसित करना चाहिए, इसके बारे में जानकारी दी। उन्होंने एक पीपीटी के माध्यम से बताया कि आज के दौर में इनोवेशन व टेक्नोलॉजी कितनी आवश्यक है। कहा कि कुछ समय अंतराल के बाद तकनीक बदल जाती है, इस लिए हर बदलाव के लिए मनुष्य को तैयार रहने की आवश्यकता है।साथ ही कहा कि समय-समय पर कर्मियों को हमेशा ट्रेनिंग देनी चाहिए, ताकि वे होने वाले बदलाव को स्वीकार करने के लिए सक्षम बने रहें।इस दौरान इनोवेशन पर भी दिया गया। मौक़े पर सर्विस सेक्टर में बिज़नेस मॉडल इनोवेशन, कॉर्पोरेट इनोवेशन व डिजिटल ट्रांसफ़ॉरमेशन से जुड़ी बातें बतायी गयी। उन्होंने बताया कि किस साइएंट ने शुरुआती अधिग्रहण करना शुरू किया और तब से, 1999 से 2005 तक, यह विश्व स्तर पर विकसित हुआ। उन्होंने नए बाजारों और डिजाइन-आधारित उत्पादन के उपयोग के माध्यम से कंपनी के परिवर्तन पर भी चर्चा की। कहा कि कस्टमर नज, इंजीनियरिंग सर्विसेज, फर्स्ट अटेम्प्ट, न्यू एक्सप्लोरेशन और इनऑर्गेनिक रूट डिजाइन-लीड मैन्युफैक्चरिंग के 5 चरण हैं। इस दौरान एक्सएलआरआइ के विद्यार्थियों ने कई सवाल भी किए जिसका उन्होंने जवाब दिया।