हमीरपुर में विजिलेंस ने तेज की जांच, कब्जे में लिया रिकॉर्ड

Guwahati News
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Vigilance, शिमला 25 फरवरी (वार्ता) : हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर के पूर्व सचिव एवं एचएएस अधिकारी डॉ. जितेंद्र कंवर के खिलाफ सरकार से अभियोजन को मंजूरी मिलने के बाद विजिलेंस ने जांच तेज कर दी है। अब विजिलेंस पूर्व सचिव को आरोपी के तौर पर पूछताछ के लिए विजिलेंस थाना में तलब करेगी। जांच में सहयोग न करने पर विजिलेंस उन्हें गिरफ्तार भी कर सकती है। विजिलेंस पूर्व में संबंधित एचएएस अधिकारी का मोबाइल फोन, लैपटॉप समेत कंप्यूटर की हार्ड डिस्क को अपने कब्जे में ले चुकी है। एफएसएल से इन इलेक्ट्रिॉनिक उपकरणों की जांच रिपोर्ट भी विजिलेंस के पास पहुंच गई है।

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विजिलेंस लैब से आई रिपोर्ट की बारीकी से पड़ताल कर रही है। जेओए आईटी मामले में विजिलेंस ने आयोग की गोपनीय शाखा की वरिष्ठ सहायक उमा आजाद को मुख्य आरोपी बनाकर सात अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया था। चूंकि, भर्ती परीक्षाओं के आवेदन की छंटनी, प्रश्नपत्रों की प्रिंटिंग और छंटनी परीक्षाओं के संचालन व स्ट्रांग रूम की देखरेख का जिम्मा आयोग के सचिव के पास ही रहता था। इसके चलते पेपर लीक मामले में पूर्व सचिव की बड़ी लापरवाही उजागर हुई थी। साथ ही जेओए आईटी के अलावा कंप्यूटर ऑपरेटर और जूनियर ऑडिटर का पेपर भी लीक हो चुका है। अभियोजन की मंजूरी मिलने के बाद पेपर लीक मामले में अब विजिलेंस अनुपूरक चार्जशीट जल्द हमीरपुर न्यायालय में पेश करेगी। उधर, विजिलेंस की अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक रेणू शर्मा ने बताया कि आयोग के पूर्व सचिव डॉ. जितेंद्र कंवर को पेपर लीक मामले में पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा। परिस्थितियों को देखते हुए आगामी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।

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