आज हफ्ते के आखिरी कारोबारी दिन भारतीय शेयर बाजार ने शानदार तेजी के साथ शुरुआत की। लेकिन, दोपहर बाद मार्केट ने एकाएक करवट बदली और इसमें भारी गिरावट आई। एक वक्त तो सेंसेक्स 1,400 अंकों तक लुढ़क गया था। इससे निवेशकों के करीब 3 लाख करोड़ रुपये स्वाहा हो गए।
आइए जानते हैं कि शेयर मार्केट में इतनी बड़ी गिरावट किस वजह से आई।
शेयर मार्केट में गिरावट की सबसे बड़ी वजह मुनाफावसूली रही, क्योंकि आज हफ्ते का आखिरी कारोबारी दिन था। कई दिग्गज शेयरों में निवेशकों ने जमकर बिकवाली की। इनमें रिलायंस इंडस्ट्रीज, HDFC बैंक और कई आईटी स्टॉक्स शामिल हैं। रिलायंस इंडस्ट्रीज में 2.60 प्रतिशत और HDFC बैंक में एक प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई।
विदेशी संस्थागत निवेशकों ने एक दिन पहले गुरुवार को 964 करोड़ रुपये के शेयर बेचे थे। इससे देशी निवेशकों का भी बाजार पर डगमगाया और उन्होंने भी बिकवाली शुरू कर दिया। अधिकतर निवेशकों ने आज मार्केट में पैसा लगाने से ज्यादा पैसा निकालने पर दिया। इनमें बड़े संस्थागत निवेशकों के साथ खुदरा निवेशक भी शामिल हैं।
आज शेयर बाजार में फ्यूचर एंड ऑप्शन ट्रेडिंग की एक्सपायरी भी थी। ब्रोकरेज फर्म जेरोधा के फाउंडर नितिन कामत ने पिछले दिनों एक्सपायरी के दिन शेयर बाजार में तेज उतार-चढ़ाव पर चिंता जताई थी। उन्होंने यहां तक कहा था कि मौजूदा माहौल में अच्छा तो लगता है कि फ्यूचर एंड ऑप्शन में ट्रेडिंग ही बंद कर दी जाए।
बड़ी कंपनियों के शेयर धड़ाम
शेयर बाजार में हैवीवेट शेयरों में भारी गिरावट आई। रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयर करीब 3 फीसदी तक फिसल गए। वहीं, HDFC बैंक का शेयर भी एक फीसदी से ज्यादा गिरा है। भारती एयरटेल का स्टॉक 3 फीसदी से ज्यादा लुढ़का है। वहीं नेस्ले इंडिया और मारुति के शेयर में 2.30 फीसदी की गिरावट आई है। साथ ही, आईटी शेयर तेजी से फिसले हैं।
निवेशकों को भारी नुकसान
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) पर सभी लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैपिटलाइजेशन करीब 3 लाख करोड़ रुपये घटकर 405.83 लाख करोड़ रुपये हो गया। इसका मतलब है कि निवेशकों के करीब तीन लाख करोड़ रुपये डूब गए।