अखनूर को राजौरी और पुंछ से जोड़ने वाली 700 मीटर लंबी नौशेरा सुरंग के दोनों भाग मिल गए हैं। इससे जम्मू से पुंछ तक का सफर 40 किलोमीटर कम हो जाएगा। जुलाई से इस सुरंग से वाहनों की आवाजाही भी शुरू हो जाएगी। 200 किलोमीटर लंबा अखनूर-पुंछ हाईवे रणनीतिक और सुरक्षा दृष्टि से अहम है। यह सुरंग अखनूर, राजोरी और पुंछ जैसे महत्वपूर्ण सीमावर्ती जिलों का आपस में जोड़ती है।
तय समय से पहले हुआ कार्य
सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के डीजी लेफ्टिनेंट जनरल रघु श्रीनिवासन की मौजूदगी में नौशहरा सुरंग के दोनों भागों का रविवार को सफलतापूर्वक कर मिलान कर शुभारंभ किया गया। बीआरओ ने तय समय से पहले इस कार्य को कर दिखाया। बीआरओ के इंजीनियरों के अनुसार राजौरी-पुंछ मार्ग पर तीन प्रमुख सुरंगों कंडी, सुंगल, नौशेरा का काम जारी है। एक भिंबर गली सुरंग का अभी शुरू होना है। दो सुरंगों का मिलान हो चुका है। चौथी सुरंग का काम शुरू होना है।
राष्ट्रीय राजमार्ग का निर्माण कार्य युद्ध स्तर पर जारी
अखनूर से पुंछ को जोड़ने वाली महत्वपूर्ण परियोजना राष्ट्रीय राजमार्ग 144ए का निर्माण युद्ध स्तर पर जारी है। इस मार्ग पर अखनूर के पास कंडी सुरंग का काम तेजी से चल रहा है, जिसका ब्रेकथ्रू (मिलान) हो चुका है। इसके साथ ही चौकचोरा क्षेत्र में सुंगल सुरंग का काम चल रहा है। भिंबर गली सुरंग का काम अभी शुरू होना है। डीजी बीआरओ रघु श्रीनिवासन ने कहा कि बीआरओ जम्मू-पुंछ में दूरदराज क्षेत्रों को प्रमुख केंद्रों से जोड़ने के लिए महत्वपूर्ण सड़क परियोजनाओं का नेतृत्व कर रहा है। 2026 तक इस परियोजना को पूरा कर लिया जाएगा।
कम समय में पहुंचे जाएंगे जम्मू
यहां पहले एक ही सड़क सीमा तक पहुंचती थी, लेकिन अब कई सड़कें सीमा को जोड़ रही हैं। इससे सुरक्षा ढांचा मजबूत हो रहा है। बीआरओ और प्रोजेक्ट संपर्क का मकसद स्थानीय लोगों को बेहतर सुविधा मिले और क्षेत्र का विकास तेजी से हो। जम्मू से पुंछ का सफर करने में आठ से 10 घंटे लगते थे, लेकिन इस परियोजना के पूरा होने पर चार घंटों के आसपास वाहन जम्मू से पुंछ पहुंच जाएंगे।