अहमदाबाद में 12 जून को हुए एअर इंडिया विमान दुर्घटना की जांच रिपोर्ट के बाद अब नागर विमानन महानिदेशालय (DGCA) जल्द ही एक आदेश जारी करने वाला है. भारत में विमान सेवा देने वाली कंपनियों को अब अपने बोइंग 787 विमानों के फ्यूल स्विच की जांच करनी होगी. एयरक्राफ्ट एक्सिडेंट इंवेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट के बाद सरकार सख्त कदम उठाने की तैयारी मैं है.
AAIB की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट में एआई-171 के दोनों इंजनों के फ्यूल स्विच के रन से कटऑफ मोड में आने की बात कही गई, जिस वजह से यह विमान हादसा हुआ. अभी इस मामले की जांच चल रही है. DGCA ने सभी एयरलाइन ऑपरेटरों को 21 जुलाई 2025 तक निरीक्षण कार्य पूरा करने और उसकी रिपोर्ट नियामक कार्यालय और संबंधित क्षेत्रीय कार्यालय को सौंपने का निर्देश दिया है. DGCA ने साफ किया कि समयसीमा का कड़ाई से पालन अनिवार्य है.
यह निर्देश फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन (FAA) की ओर से 17 दिसंबर 2018 को जारी बुलेटिन के आधार पर जारी किया गया है. इसमें बोइंग और मैकडॉनेल डगलस के अलग-अलग मॉडल में फ्यूल कंट्रोल स्विच लॉकिंग सिस्टम की संभावित समस्याओं की चेतावनी दी गई थी.
अहमदाबाद प्लेन क्रैश मामले में शनिवार (12 जुलाई 2025) को जारी प्रारंभिक रिपोर्ट में बताया गया कि दुर्घटनाग्रस्त हुए विमान का रखरखाव रिकॉर्ड बिल्कुल ठीक था. इसके सभी जरूरी निरीक्षण समय पर पूरे किए गए थे. इसमें विमान के पास वैध उड़ान योग्यता प्रमाण पत्र होने की बात भी कही गई है.
विमानन कंपनी एअर इंडिया ने हाल में दुर्घटनाग्रस्त हुए बोइंग 787-8 विमान के ‘थ्रॉटल कंट्रोल मॉड्यूल’ (टीसीएम) को 2019 में जारी बोइंग के निर्देश के बाद पिछले छह साल में दो बार बदला था. टीसीएम में ईंधन को नियंत्रित करने वाले स्विच शामिल होते हैं.